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Health: भारतीय बाजारों में चाइनीज लहसुन की बढ़ती मौजूदगी ने स्वास्थ्य संबंधी चिंताओं को जन्म दिया है। अवैध रूप से नेपाल के जरिए भारत में प्रवेश कर रहे इस लहसुन में हानिकारक केमिकल्स का उपयोग होने की खबरें हैं। इसमें मेटल, लेड और क्लोरीन जैसे तत्वों का उपयोग होने की बात सामने आई है, जो स्वास्थ्य के लिए घातक हो सकते हैं।
इस तरह के लहसुन का उपयोग न केवल व्यक्तिगत स्वास्थ्य के लिए चिंताजनक है, बल्कि यह सामाजिक स्वास्थ्य के लिए भी एक बड़ी चुनौती पेश करता है। इसके अलावा, इस तरह के लहसुन का उपयोग खाद्य सुरक्षा मानकों का उल्लंघन करता है और इससे खाद्य श्रृंखला में विषाक्तता का खतरा बढ़ जाता है।
विशेषज्ञों का कहना है कि लहसुन में पाए जाने वाले ऐलीसिन जैसे प्राकृतिक तत्व स्वास्थ्य के लिए अनेक लाभ प्रदान करते हैं। लहसुन के नियमित सेवन से रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि, खांसी-जुकाम की रोकथाम, और पाचन संबंधी समस्याओं का निवारण हो सकता है। हालांकि, यदि लहसुन में हानिकारक रसायनों का मिश्रण हो, तो इसके स्वास्थ्य लाभों पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है।
यहाँ कुछ सरल तरीके दिए गए हैं जिनसे आप चाइनीज लहसुन की पहचान कर सकते हैं:
- आकार और रंग: चाइनीज लहसुन आमतौर पर बड़े आकार का होता है और इसका रंग भी थोड़ा पीला होता है।
- कलियों की संख्या: चाइनीज लहसुन में कलियों की संख्या कम होती है और वे अधिक बड़ी होती हैं।
- स्वाद और गंध: स्थानीय लहसुन की तुलना में चाइनीज लहसुन का स्वाद कम तीखा होता है और गंध भी कम होती है।
- जड़ों की उपस्थिति: चाइनीज लहसुन की जड़ें अक्सर काट दी जाती हैं ताकि वे लंबे समय तक ताजा रहें।
इन संकेतों का उपयोग करके, आप अपने खाने में शुद्धता की गारंटी कर सकते हैं और स्वास्थ्यप्रद विकल्प चुन सकते हैं। याद रखें, आपका स्वास्थ्य आपके हाथ में है!