
देहरादून: उत्तराखंड स्थित विश्व प्रसिद्ध बदरीनाथ और केदारनाथ धाम के भक्तों के लिए बड़ी खुशखबरी है। अब देश और दुनिया के किसी भी कोने में बैठे श्रद्धालु घर पर ही भगवान बदरी विशाल और बाबा केदार का प्रसाद पा सकेंगे। श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति (बीकेटीसी) ने भारतीय डाक विभाग के साथ एक विशेष अनुबंध किया है, जिसके तहत स्पीड पोस्ट के माध्यम से 140 देशों में प्रसाद की डिलीवरी सुनिश्चित की जाएगी। भारत के भीतर यह प्रसाद अधिकतम 72 घंटों में श्रद्धालुओं तक पहुंच जाएगा।
यह पहल उन लाखों भक्तों के लिए एक वरदान है जो मन में गहरी आस्था रखने के बावजूद, समय की कमी, स्वास्थ्य या अन्य कारणों से इन पवित्र धामों की यात्रा नहीं कर पाते हैं।
डाक विभाग और मंदिर समिति का ऐतिहासिक अनुबंध
बीकेटीसी के अध्यक्ष हेमंत द्विवेदी ने बताया कि इस महत्वपूर्ण सेवा के लिए भारतीय डाक विभाग के साथ अनुबंध किया गया है। इस व्यवस्था के तहत, डाक विभाग के प्रतिनिधि मंदिर समिति के कार्यालय से प्रसाद के पैकेट लेकर उन्हें स्पीड पोस्ट के माध्यम से देश-विदेश में भक्तों के पते पर पहुंचाएंगे। उन्होंने बताया कि यह सेवा व्यावहारिक रूप से शुरू हो चुकी है और अब तक 97 श्रद्धालुओं को प्रसाद सफलतापूर्वक भेजा जा चुका है। इसके अलावा, जो भक्त दीर्घकालिक पूजा करवाते हैं, उन्हें भी पांच से दस वर्षों तक हर साल प्रसाद भेजा जाएगा।
कैसे ऑर्डर करें प्रसाद?
श्रद्धालु बदरी-केदार मंदिर समिति की आधिकारिक वेबसाइट www.badrinath-kedarnath.gov.in पर जाकर ऑनलाइन प्रसाद का ऑर्डर कर सकते हैं। इसके अलावा बीकेटीसी के कार्यालयों से भी संपर्क कर प्रसाद मंगवाया जा सकता है।
प्रसाद बॉक्स में क्या-क्या होगा खास?
मंदिर समिति के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) विजय थपलियाल के अनुसार, प्रसाद का बॉक्स बेहद आकर्षक और यूनिक बनाया गया है, जिस पर भगवान बदरीनाथ और केदारनाथ की तस्वीरें हैं। बॉक्स के अंदर भक्तों को मिलेगा:
- भगवान बदरी-केदार की लकड़ी की छोटी प्रतिकृति (रेप्लिका)।
- स्थानीय उत्पाद चौलाई के लड्डू।
- गंगाजल, पंचमेवा, बदरीनाथ की तुलसी, और बाबा केदार का रुद्राक्ष।
- तुलसी की माला, दोनों धामों की आरतियों की पुस्तिका, और चंदन।
- केदारनाथ की विभूति (भस्म), हाथ में बांधने के लिए शुभ धागा, जनेऊ, और पटका।
- मिश्री प्रसाद और भगवान बदरी-केदार का एक प्रतीकात्मक सिक्का।
जल्द ही कैंची धाम का प्रसाद भी मिलेगा
उत्तराखंड परिमंडल देहरादून के डाक निदेशक अनुसूया प्रसाद चमोला ने बताया कि यह “प्रसादम योजना” दक्षिण भारत के मंदिरों में पहले से ही सफल रही है। उत्तराखंड में इसे पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर बदरीनाथ और केदारनाथ से शुरू किया गया है। उन्होंने यह भी जानकारी दी कि जल्द ही नैनीताल स्थित प्रसिद्ध कैंची धाम के प्रसाद को भी इसी तरह देश-विदेश के भक्तों तक पहुंचाने की योजना है, जिसके लिए कैंची धाम प्रबंधन से बातचीत चल रही है।