New Delhi: जैसे ही दुनिया कोरोना वायरस महामारी से उबरने की दिशा में अग्रसर है, एक नई चुनौती ने वैश्विक स्वास्थ्य समुदाय को चिंतित कर दिया है। बर्ड फ्लू, जिसे एवियन इन्फ्लुएंजा भी कहा जाता है, अब एक नए और अधिक घातक रूप में सामने आया है। विशेषज्ञों का मानना है कि H5N1 स्ट्रेन कोरोना से 100 गुना अधिक खतरनाक हो सकता है।
भारत में, जहां कोरोना वायरस ने पहले ही गहरा प्रभाव डाला है, बर्ड फ्लू के खतरे ने एक नई चिंता को जन्म दिया है। विशेषज्ञ डॉ. सुरेश कुचिपुड़ी के अनुसार, H5N1 स्ट्रेन ने पहले ही मनुष्यों सहित स्तनधारी जीवों को संक्रमित करने की क्षमता दिखाई है, जिससे इसके एक भयानक महामारी का खतरा बन गया है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के आंकड़ों के अनुसार, 2003 के बाद से H5N1 वायरस से संक्रमित हर 100 रोगियों में से 52 की मृत्यु हो गई है, जिससे इसकी मृत्यु दर 50 प्रतिशत से अधिक हो गई है। इस तरह के आंकड़े भारत सहित पूरी दुनिया के लिए एक गंभीर चेतावनी हैं।
भारत सरकार और स्वास्थ्य विभाग इस स्थिति पर नजर रख रहे हैं और आवश्यक सतर्कता बरत रहे हैं। जनता को भी सतर्क रहने और स्वास्थ्य निर्देशों का पालन करने की सलाह दी जा रही है। इस महामारी के खिलाफ लड़ाई में सावधानी और तैयारी ही हमारी सबसे बड़ी शक्ति है।बर्ड फ्लू के बारे में आपकी चिंता समझ में आती है। यह वायरस, जिसे H5N1 के नाम से भी जाना जाता है, वास्तव में बहुत ही संक्रामक होता है और इसके फैलने की क्षमता और म्यूटेशन की प्रक्रिया ने वैज्ञानिक समुदाय में चिंता उत्पन्न कर दी है। अमेरिका में, बर्ड फ्लू के कारण मुर्गियों और चूजों में बड़े पैमाने पर संक्रमण और मौतें हुई हैं, और अब यह गायों और बिल्लियों तक भी पहुंच गया है। टेक्सास में एक डेयरी फार्म कर्मचारी के H5N1 से संक्रमित होने का मामला भी सामने आया है, जो इस बात का संकेत है कि यह वायरस मनुष्यों में भी फैल सकता है
पीट्सबर्ग में बर्ड फ्लू पर रिसर्च करने वाले वैज्ञानिक डॉ. सुरेश कुचिपुड़ी की चेतावनी गंभीरता से लेने योग्य है। उनके अनुसार, एच5एन1 वायरस का संक्रमण वास्तव में एक महामारी का रूप ले सकता है और यह वायरस स्तनधारी जीवों में तेजी से फैल सकता है, जिसमें मनुष्य भी शामिल हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि इसकी उच्च मृत्यु दर को देखते हुए यह कोरोना महामारी से सौ गुना ज्यादा खतरनाक साबित हो सकती है।
इस संदर्भ में, वाइट हाउस और विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) इस स्थिति पर करीब से नजर रख रहे हैं और सतर्कता और तैयारियों की जरूरत पर जोर दे रहे हैं। यह जानकारी आपको और अधिक सजग बनाने में मदद कर सकती है, और यह जरूरी है कि हम सभी स्वास्थ्य और सुरक्षा के उपायों को अपनाएं और स्थानीय स्वास्थ्य निर्देशों का पालन करें।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के आंकड़े डरा रहे
विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, 2003 के बाद से एच5एन1 वायरस से संक्रमित हर 100 रोगियों में से 52 की मृत्यु हो गई है, जिससे इसकी मृत्यु दर 50 प्रतिशत से अधिक हो गई है। इसके विपरीत, कोरोना वायरस की मृत्यु दर शुरुआत में कुछ जगहों पर 20 प्रतिशत थी, जो बाद में घटकर 0.1 प्रतिशत रह गई।
विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि एच5एन1 वायरस के कारण मृत्यु दर काफी ज्यादा हो सकती है और यह स्थिति कोविड-19 की तुलना में सौ गुणा बदतर हो सकती है। इसके अलावा, बर्ड फ्लू के अब तक केवल 887 मामले दर्ज हुए हैं, जिनमें से 462 की मौत हो चुकी है।
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